IUNNATI CHANAKYA NITI CHANAKYA NITI LESSON FOR LIFE

CHANAKYA NITI LESSON FOR LIFE

चाणक्य नीति ⚔️ 

तृतीय अध्याय 

♦️श्लोक : २० 

धर्मार्थकाममोक्षाणां यस्यैकोअ्पि न विद्यते। 

जन्म-जन्मनि मर्त्येषु मरणं तस्य केवलम्।।२०।। 

♦️भावार्थ – मनुष्य देह धारण करने पर भी जो धर्म, अर्थ, काम और मोक्ष में से किसी एक की प्राप्ति की कोशिश नहीं करते, वे मृत्युलोक में सिर्फ मरने के लिए पैदा होते है और होने के लिए मरते है अर्थात् इस धरती पर उन लोगों का जन्म बिल्कुल बेकार है। वे तो हमेशा मरे हुए के ही समान है। 

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